तू प्यार का सागर, सागर दया का तू है (2)
तेरे प्यार के सागर में, हम तैरना चाहते हैं (2)
गहराई मिले सागर की ऊँचाई मिले आसमां की (2)
पर कोई नाप न पायेगा गहराई तेरे प्यार की (2)
परमेश्वर होने पर भी तू मानव रूप धारण किया (2)
प्रभु तेरे इसी प्यार ने हमको दीवाना बनाया (2)