वचन तुम्हारे ले जाए हमको, तुम्हारे सुखराज में
बुझाए तृष्णा, जगाए खुशियाँ, हमारे जीवन में ।
तुम्हारी शोभा बड़ी निराली, न कर सके वर्णन
तुम्हारे यश की विशाल गाथा, सुनाये हर जन-जन
ये पेड़-पौधे, ये फूल-कलियाँ करे तुम्हें वन्दन
ये चाँद तारे, ये जीवन सारे, करें तुम्हें सुमिरन
दया तुम्हारी हर एक जन पे, रहे सदा दाता
तुम्हारे जैसा दयालु कोई, नजर नहीं आता ।